“फार्मासिस्ट नहीं तो दवा नहीं: शहडोल में फार्मासिस्टों की बुलंद आवाज, संगठन की बैठक में उठीं ज़मीनी समस्याएं”

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📍 शहडोल, 11 जुलाई 2025 | विनय की रिपोर्ट (8349627682)


शहडोल जिले में आज फार्मासिस्टों की एक महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई, जिसमें एपी फार्मासिस्ट संघ के प्रदेश महासचिव श्री अखिलेश त्रिपाठी विशेष रूप से अल्प प्रवास पर शामिल हुए। बैठक का आयोजन जिले में फार्मासिस्टों की समस्याओं पर विचार करने और संगठन को अधिक मजबूत व सक्रिय बनाने के उद्देश्य से किया गया था।

बैठक की अध्यक्षता जिलाध्यक्ष श्री सतेंद्र शर्मा ने की और इसमें पूर्व जिलाध्यक्ष श्री विवेक गुप्ता, जिला सचिव दुर्गेश यादव, जिलाउपाध्यक्ष शिवम शुक्ला, श्री अमित कुशवाहा सहित जिले के कई वरिष्ठ फार्मासिस्ट शामिल हुए।




🔹 फार्मासिस्टों की समस्याओं पर गंभीर चर्चा

बैठक में जिले के फार्मासिस्टों की मौजूदा परेशानियों को सामने लाया गया। श्री सतेंद्र शर्मा एवं श्री विवेक गुप्ता ने बताया कि फार्मासिस्टों को कार्यस्थल पर मान्यता नहीं मिल पा रही, साथ ही कई मेडिकल स्टोर्स बिना फार्मासिस्ट के अवैध रूप से संचालित हो रहे हैं।

इस पर प्रतिक्रिया देते हुए प्रदेश महासचिव श्री अखिलेश त्रिपाठी ने आश्वासन दिया कि सभी ज्वलंत समस्याओं का समाधान प्रदेश अध्यक्ष के माध्यम से प्राथमिकता पर कराया जाएगा। उन्होंने बताया कि संगठन फार्मासिस्टों की गरिमा और अधिकारों की रक्षा के लिए प्रतिबद्ध है।




🔹 ड्रग विभाग से हुई अहम चर्चा

श्री त्रिपाठी ने बताया कि इस संदर्भ में ड्रग इंस्पेक्टर श्री देवेंद्र जैन से भी बातचीत हुई है। उन्होंने कहा कि नियमों के अनुसार बिना फार्मासिस्ट के कोई भी मेडिकल स्टोर नहीं चलने दिया जाएगा। श्री जैन ने संगठन को विश्वास दिलाया कि प्रशासन और संगठन मिलकर इस दिशा में ठोस कदम उठाएंगे।




🔹 चिकित्सा विशेषज्ञों का समर्थन

बैठक के दौरान मेडिकल कॉलेज शहडोल के वरिष्ठ प्राध्यापक डॉ. जीतेंद्र शर्मा से भी शिष्टाचार भेंट की गई। डॉ. शर्मा ने एपी फार्मासिस्ट संघ की सराहना करते हुए कहा कि फार्मासिस्टों की मौजूदगी से एडवर्स ड्रग रिएक्शन और साइड इफेक्ट्स पर नियंत्रण पाया जा सकता है, जिससे आम जनता को सीधा लाभ मिलेगा।




🔹 सामाजिक सहयोग और सक्रियता

इस अवसर पर उमरिया जिले के प्रसिद्ध सामाजिक कार्यकर्ता श्री मान सिंह की भी गरिमामयी उपस्थिति रही। जिलाध्यक्ष श्री शर्मा ने उनका स्वागत करते हुए संगठन के सामाजिक योगदान पर प्रकाश डाला। श्री मान सिंह ने कहा कि आज एपी फार्मासिस्ट संघ न केवल पेशेवर मोर्चे पर बल्कि समाजसेवा के क्षेत्र में भी उल्लेखनीय कार्य कर रहा है।




🔹 भविष्य की योजनाएं और चेतावनी

प्रदेश महासचिव श्री त्रिपाठी ने बताया कि फार्मेसी काउंसिल ऑफ इंडिया (PCI) द्वारा मध्यप्रदेश में फार्मासिस्ट रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया ऑनलाइन कर दी गई है। फार्मासिस्ट अब घर बैठे अपना रजिस्ट्रेशन प्राप्त कर सकेंगे।

उन्होंने यह भी चेतावनी दी कि जो फार्मासिस्ट अपने PCI प्रमाणपत्र को किराये पर देते हैं, उनके खिलाफ रजिस्ट्रेशन रद्द करने की अनुशंसा की जाएगी। साथ ही उन्होंने कॉलेजों में हो रही नॉन-अटेंडिंग फार्मेसी शिक्षा पर भी चिंता जताई और कहा कि इसकी सूचना PCI दिल्ली को भेजी जाएगी।




🔹 घटिया दवाओं पर कड़ी कार्रवाई की मांग

श्री त्रिपाठी ने जोर देते हुए कहा कि प्रदेश में डिस्काउंट के नाम पर कई स्थानों पर घटिया क्वालिटी की जेनरिक दवाएं बेची जा रही हैं, जिससे गंभीर बीमारियाँ फैल रही हैं। संगठन इस पर ड्रग कंट्रोल विभाग से कड़ी कार्रवाई की मांग करेगा ताकि जनता को गुणवत्तापूर्ण दवाएं मिल सकें।




🔹 संगठन की एकजुटता ही ताकत

बैठक का समापन संगठन की एकजुटता और भविष्य की योजनाओं पर चर्चा के साथ हुआ। प्रदेश महासचिव ने बताया कि आने वाले समय में प्रत्येक जिले में फार्मासिस्ट महासभा का आयोजन किया जाएगा, जिससे संगठन को जमीनी स्तर पर और मजबूत किया जा सके।




🖋 उपस्थित पदाधिकारी:
सतेंद्र शर्मा (जिलाध्यक्ष), विवेक गुप्ता (पूर्व जिलाध्यक्ष), दुर्गेश यादव (जिला सचिव), शिवम शुक्ला (जिलाउपाध्यक्ष), अमित कुशवाहा सहित अन्य कई सक्रिय सदस्य।




इस बैठक ने न केवल फार्मासिस्टों की समस्याओं को उजागर किया बल्कि उनके समाधान की दिशा में ठोस कदम उठाने का संकल्प भी लिया। संगठन की यह पहल न केवल फार्मासिस्ट समुदाय बल्कि सम्पूर्ण स्वास्थ्य प्रणाली को सशक्त बनाने की दिशा में मील का पत्थर साबित हो सकती है।






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