मुरैना। विनय मेहरा की रिपोर्ट।
पोरसा का प्रसिद्ध मुक्तिधाम अब चंबल क्षेत्र के एक प्रमुख पर्यटक स्थल के रूप में उभर चुका है। यह स्थल न केवल अपनी भव्यता और धार्मिक आस्था के लिए जाना जाता है, बल्कि अपनी वास्तुकला और अद्वितीय डिजाइन के कारण भी पर्यटकों को आकर्षित करता है। इस मुक्तिधाम में “सत्यम् शिवम् सुंदरम्” के संदेश के साथ ज्ञान, वैराग्य और भक्ति का अद्भुत समागम देखने को मिलता है। खासकर महाकाल के मंदिर का निर्माण, जो बारह ज्योतिर्लिंगों में से एक बनने की दिशा में है, पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र बना हुआ है।
दिन के समय तो लोग इस स्थल पर आते ही हैं, लेकिन रात के समय यहाँ की रोशनी और वातावरण को देखने के लिए भी लोग उत्साहित रहते हैं। पोरसा के तहसीलदार आदरणीय भारतेन्दु सिद्धार्थ गौतम ने अपने परिवार के साथ इस मुक्तिधाम का रात्रिकालीन अवलोकन किया। उन्होंने मुक्तिधाम की सुंदरता और उसकी धार्मिक महत्ता की सराहना करते हुए कहा, “पोरसा की जनता को नमन करता हूँ, जिन्होंने इस अद्भुत रचना को तैयार किया है। मेरे परिवार को इस स्थल की सुंदरता से गहरा आभास हुआ है।”
तहसीलदार भारतेन्दु गौतम ने अपनी प्रतिक्रिया में यह भी कहा कि उन्होंने अपनी यात्रा के दौरान ‘कुक्ष शब्द सुझाव पुस्तिका’ में मुक्तिधाम के बारे में कुछ महत्वपूर्ण टिप्पणियां दर्ज की हैं। उन्होंने डॉ. गुप्ता का आभार व्यक्त करते हुए कहा, “आपने रात्रि वेला में आकर इस स्थल का संपूर्ण अवलोकन कराया और विषय की पूरी जानकारी दी। इसके लिए मैं आपको कोटि-कोटि धन्यवाद देता हूँ।”
इस अवसर पर तहसीलदार ने जय महाकाल का उद्घोष करते हुए मुक्तिधाम के समर्पित प्रयासों को सराहा। उनका कहना था कि यह स्थल न केवल धार्मिक दृष्टि से, बल्कि सांस्कृतिक और ऐतिहासिक दृष्टि से भी बेहद महत्वपूर्ण है।