अपर नर्मदा सिंचाई परियोजना को निरस्त करने हेतु राज्यपाल से प्रतिनिधिमंडल ने की मुलाकात 

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भाजपा जिला अध्यक्ष हीरा सिंह श्याम के नेतृत्व में राज्यपाल से प्रतिनिधिमंडल ने की मुलाकात

किसानों एवं क्षेत्र हित में अपर नर्मदा परियोजना को निरस्त करने की हुई मांग 

अनूपपुर ।

पिछले कुछ वर्षों से प्रशासन की गलत रिपोर्टिंग और रणनीति के कारण अपर नर्मदा परियोजना शोभापुर अनूपपुर डिंडोरी का निर्माण कार्य इसलिए प्रारंभ नहीं हो पा रहा है क्योंकि इस परियोजना को लेकर क्षेत्र के किसान और रहवासी निरंतर इसका विरोध कर रहे हैं क्योंकि उनके भविष्य पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं इस परियोजना के प्रारंभ होने से क्षेत्र का विकास तो नहीं लेकिन विनाश होना सुनिश्चित है जिसकी चिंता की लकीरें हर किसी के माथे पर देखी जा सकती हैं। अपर नर्मदा परियोजना को निरस्त करने की मांग को लेकर भाजपा अनूपपुर जिला अध्यक्ष हीरा सिंह श्याम के नेतृत्व में अपर नर्मदा परियोजना को निरस्त करने हेतु राज्यपाल से प्रतिनिधिमंडल ने की मुलाकात जिसमें भाजपा जिला अध्यक्ष हीरा सिंह श्याम. राजेश सिंह सराठीया विजय सिंह पट्टा भागरथ सिंह स्वामी सोनवानी तथा अन्य लोगों ने मध्य प्रदेश के महामहिम राज्यपाल से मुलाकात कर अपर नर्मदा परियोजना को निरस्त करने की मांग की जिससे कि जल जंगल जमीन एवं आदिवासियों का संरक्षण सुनिश्चित हो सके और पलायन की स्थिति निर्मित ना हो.

50 ग्राम पंचायत होगी प्रभावित

पिछले 25 30 वर्ष पहले अपर नर्मदा परियोजना शोभापुर अनूपपुर डिंडोरी को प्रस्तावित किया गया जिसके बाद से इस परियोजना का निरंतर विरोध हो रहा है और क्षेत्र के लोग भय के वातावरण में जीवन जीने को मजबूर हैं जब चुनाव आता है इस परियोजना को प्रारंभ करने की प्रक्रिया शुरू कर दी जाती है जिससे क्षेत्र वासियों को संघर्ष का सामना करना पड़ रहा है इस परियोजना के कारण लगभग 50 ग्राम पंचायत प्रभावित हो रही हैं परियोजना का दुष्परिणाम जल जंगल जमीन और आदिवासियों के पलायन के रूप में देखा जा रहा है जो इस क्षेत्र के लिए हितकर नहीं है।

गलत सर्वे और रिपोर्ट के आधार पर तैयार की गई परियोजना की रूपरेखा

भाजपा जिला अध्यक्ष हीरा सिंह श्याम के नेतृत्व में मिले प्रतिनिधि मंडल ने महामहिम राज्यपाल से कहा कि गलत सर्वे और रिपोर्ट तथा दबाव में ग्राम पंचायत के प्रस्ताव फर्जी तरीके से तैयार कर कर प्रस्तुत की गई और परियोजना को प्रस्तावित करने का कार्य किया गया जबकि हमारे क्षेत्र में इस परियोजना की कोई आवश्यकता ही नहीं है

क्षेत्र में हो रहा दो फसल का उत्पादन

पुष्पराजगढ़ क्षेत्र में खरीफ एवं धान की दो फसल का उत्पादन 80 से 90 हजार टन प्रतिवर्ष किया जा रहा है जिसकी खरीदी भी शासन के द्वारा की जाती है फिर भी क्षेत्र को असंचित घोषित करने का कार्य फर्जी तरीके से प्रशासनिक अधिकारियों के द्वारा किया जाता है ऐसी परियोजना के कारण कृषि आधारित हमारे जनजातीय समाज के परिवारों को विस्थापन की स्थिति से गुजरना पड़ता है ऐसे पहले भी हो चुका है

संरक्षित क्षेत्र को किया जाए सुरक्षित

महामहिम राज्यपाल को दिए गए पत्र के माध्यम से बताया गया कि अनूपपुर जिला पुष्पराजगढ़ भारतीय संविधान के प्रदत्त भाग 10 में पांचवी अनुसूची में आता है जो अनुसूचित क्षेत्र के रूप में परिभाषित किया जाता है जिसका संरक्षण महामहिम के अधीन है इसके साथ ही पेसा कानून 2022 यहां पर लागू है जिसमें बिना ग्राम सभा के अनुमति के कोई भी ऐसी परियोजना को लागू करने की अनुमति नहीं है जब तक की ग्राम सभा की सहमति प्रदान न हो

परियोजना को निरस्त कर दिया जाए संरक्षण

प्रतिनिधि मंडल ने महामहिम राज्यपाल मध्य प्रदेश से मुलाकात कर अपर नर्मदा परियोजना को निरस्त कर आदिवासी आंचल को संरक्षण प्रदान करने की मांग की गई है जिससे कि यहां पर विस्थापन तथा अन्य समस्याओं का सामना क्षेत्र के लोगों को ना करना पड़े और उनका जीवन यापन सुचारू रूप से चला रहे।


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